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•टेंशन में आ गई यूपी पुलिस
• लोक गायिका नेहा को थमाई नोटिस
लखनऊ
यूपी की लोक गायिका नेहा सिंह राठौड़ एक बार फिर सुर्खियों में हैं। वे अपने गानों से योगी सरकार की क्लास लेती रहती हैं। पिछले चुनाव के समय उनका गाया ‘यूपी में का बा’ गीत काफी लोकप्रिय हुआ था। अब उन्होंने बुलडोजर से टूटते घरों पर एक नया गाना गाया है, जिससे यूपी की पुलिस टेंशन में आ गई है। इसके बाद यूपी पुलिस ने नेहा को एक नोटिस थमा दी है। अब नेहा अपने वकील से सलाह-मशविरा के बाद इसका जवाब देंगी।
बता दें कि ‘यूपी में का बा…’ गाना गाकर नेहा स्टार बन गर्इं और सोशल मीडिया से लेकर टीवी चैनलों की डिबेट तक में वे दिखाई देने लगीं। अब एक बार फिर उनकी चर्चा हो रही है, लेकिन मामला थोड़ा अलग है। नेहा सिंह के नए गाने ‘यूपी में का बा’ पार्ट-२ के लिए यूपी पुलिस ने उन्हें नोटिस भेजा है। उनसे ७ सवालों के जवाब मांगे गए हैं। नेहा पर आरोप है कि अपने गाने से वे समाज में नफरत पैâला रही हैं। जैसे ही यह खबर सामने आई, समाजवादी पार्टी से लेकर आम आदमी पार्टी के नेता योगी सरकार पर बरस पड़े। अखिलेश यादव ने तो पूरी कविता लिखकर ट्वीट कर दी। दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि क्या एक लोक गायिका की आवाज से इतना डर गई भाजपा? उधर नेहा ने कहा कि कानपुर देहात में मां-बेटी को जिंदा जला दिया जाता है, प्रशासन की बर्बरता, आग लगी, बुलडोजर… ये सारी चीजें हुर्इं। मैंने हमेशा से घटनाओं और मुद्दों पर गीत लिखा है। यूपी चुनाव के समय भी जब गाया था तो अभद्र टिप्पणियां की गई थीं। कानपुर देहात वाले कांड पर मैंने सीजन-२ रिलीज किया तो इनको ये बात काफी चुभ गई। अतिक्रमण विरोधी अभियान के दौरान कानपुर देहात के एक गांव में मां-बेटी की जलकर मौत होने के बाद नेहा ने अपने ट्विटर हैंडल, फेसबुक और यूट्यूब चैनल से यूपी में का बा… गाना पोस्ट कर योगी सरकार पर कटाक्ष किया था। अकबरपुर कोतवाली पुलिस ने नोटिस दिया है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि स्पष्टीकरण नहीं देने पर आगे की कानूनी कार्रवाई की जाएगी। नेहा पर मुख्य आरोप यही लगाए गए हैं कि नेहा के गाने समाज में भेदभाव और वैमनस्य पैâला रहे हैं। नेहा ने बताया कि आंबेडकर नगर में उनके ससुराल में पुलिसवाले जीप में भरकर पहुंच गए थे, जैसे किसी क्रिमिनल को पकड़ने जा रहे हों। मेरे ससुर जी को नोटिस थमाया लेकिन वहां से बात नहीं बनी क्योंकि मैं दिल्ली में रहती हूं। कल शाम ८ बजे फिर से पूरी फौज लेकर ये दिल्ली चले आए। यहां मैं जिस सोसाइटी में रहती हूं, लोग मुझे संदिग्ध नजरों से देख रहे थे। ये लोग डराने-धमकाने का काम कर रहे हैं।
नेहा का कहना है कि लोगों को खुद यह गाना सुनना चाहिए तब पता चलेगा कि क्या इससे समाज में कोई वैमनस्यता पैâल रही है।