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श्रमिक स्पेशल ट्रेने अब हो सकती हैं बंद राज्यों की मांग कम होती जा रही है. जाने क्या है कारणइंडियन रेलवे ने श्रमिक स्पेशल ट्रेनों को बंद करने के संकेत दिए हैं. दरअसल, भारतीय रेल को राज्यों से 321 और श्रमिक स्पेशल ट्रेनों को चलाने का अनुरोध मिला है. ऐसी संभावना है कि रेलवे तुरंत ही इस सेवा को समाप्त करने का निर्णय ले.
जानकारी के मुताबिक रेलवे से सिर्फ 321 ट्रेनों की मांग नई मांग की गई है और इसमें ज्यादातर ट्रेनें पश्चिम बंगाल के लिए हैं. रोजाना औसतन 200 से अधिक श्रमिक स्पेशल ट्रेनें चला रहा इंडियन रेलवे 321 ट्रेनों की मांग को अगले 2 दिनों में पूरा करने की क्षमता रखता है. ऐसे में दो दिनों के बाद श्रमिक स्पेशल ट्रेनें चलेंगी या नहीं इसकी कोई जानकारी नहीं है.

रेलवे का कहना है कि जब तक मांग रहेगी, वह इन ट्रेनों को चलाएगा. रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष की ओर से 29 मई को राज्यों को भेजे गए पत्र में अनुरोध किया गया था कि वे अब भी लौटने को इच्छुक पंजीकृत प्रवासियों की अपनी सूची पर नजर दौड़ाएं और 30 मई तक ऐसी ट्रनों की अपनी जरूरत सामने रखें ताकि ऐसी सेवाओं की योजना बनाई जा सके.
रेल मंत्रालय से सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, 30 मई तक रेलवे को 321 श्रमिक स्पेशल ट्रेनों की मांग प्राप्त हुई थी. रेलवे अबतक करीब 4000 ऐसी ट्रेनों से करीब 56 लाख प्रवासी मजदूरों और कामगारों को उनके घर पहुंचा चुका है. लेकिन अब इन ट्रेनों की मांग घट गई है.