हिमाचल प्रदेश

खड्डों-नालों से 100 मीटर तक नहीं बनाए जाएंगे सरकारी भवन, CM बोले, गलत जगह बनाया गया है धर्मपुर बस अड्डा

मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू बोले, गलत जगह बनाया गया है धर्मपुर बस अड्डा

शिमला

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा है कि उन्होंने टीसीपी मंत्री राजेश धर्माणी से इस बारे में चर्चा की है कि सरकारी भवन अब खड्डों, नदियों और नालों के 100 मीटर के दायरे में नहीं बनाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि मंडी जिला के धर्मपुर में बना बस अड्डा इसका प्रमाण है, जहां लगभग हर बरसात में नुकसान हो रहा है। वह सचिवालय में बैठक से पहले मीडिया से बात कर रहे थे। सीएम ने इस बस अड्डे का उदहारण देते हुए कहा कि वहां बस स्टैंड भी खड्ड और नाले के किनारे बना था, जिस कारण लगातार वहां नुकसान हो रहा है। यहां पहले भी नुकसान हुआ था और अब धर्मपुर में 10 करोड़ से ज्यादा का नुकसान केवल बसों को हुआ है। कांग्रेस विधायक चंद्रशेखर के सत्याग्रह को लेकर मुख्यमंत्री ने कहा कि कांग्रेस की सरकार में विधायक इस तरह अनशन करें, तो बड़ी बात है। उन्होंने सडक़ परिवहन मंत्रालय के अधिकारियों को बदलने की मांग की थी, क्योंकि धर्मपुर से गुजर रही सडक़ में काम ठीक नहीं हुआ है, जिसके कारण लोगों का नुकसान हो रहा था।

मंत्रालय ने अब हमीरपुर स्थित प्रोजेक्ट डायरेक्टर के इस दफ्तर को ही बंद करने की बात कही है। राज्य सरकार इस बारे में भारत सरकार से बात करेगी। सडक़ों की डीपीआर में हो रही गलती को अब केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी भी कबूल चुके हैं। उन्होंने खुद कहा है कि गूगल मैप देखकर डीपीआर बनाई जा रही हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान राज्य सरकार अपने सीमित संसाधनों से प्रभावित परिवारों को राहत उपलब्ध करा रही है और लोगों की सुविधा के लिए क्षतिग्रस्त सडक़ों, सिंचाई और जल आपूर्ति योजनाओं को युद्धस्तर पर बहाल कर रही है। इस वर्ष की भारी बारिश ने वर्ष 2023 की आपदा की तुलना में अधिक क्षति पहुंचाई है। उन्होंने बताया कि पिछले तीन वर्षों में विभिन्न आपदाओं के कारण लगभग 20,000 करोड़ रुपए का नुकसान दर्ज किया गया है। आपदा के कारण कीमती जानें और बिजली, जलापूर्ति, सडक़ें तथा निजी संपत्तियां नष्ट हुई हैं।

आपदा प्रभावित जिलों के उपायुक्तों से ली रिपोर्ट

मुख्यमंत्री ने आपदा प्रभावित क्षेत्रों के उपायुक्तों से स्थिति की जानकारी ली और उन्हें आवश्यक व त्वरित कदम उठाने के निर्देश दिए। उन्होंने असुरक्षित भवनों में रह रहे लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने को कहा, ताकि किसी भी अप्रिय घटना को टाला जा सके। उन्होंने प्रभावित क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त सडक़ों व पेयजल योजनाओं को प्राथमिकता पर बहाल करने और प्रभावित क्षेत्रों में आवश्यक वस्तुएं भी उपलब्ध करवाने तथा जरूरतमंदों को सहायता प्रदान करने के भी निर्देश दिए।

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