तमिलनाडु के तिरुचिरापल्ली ( Tiruchirappalli) स्थित बिशप हेबर कॉलेज (Bishop Heber College) के तमिल भाषा के प्रोफेसर सीजे पॉल चंद्रमोहन को स्नातकोत्तर विभाग की 5 छात्राओं के यौन शोषण के मामले में बुधवार (7 जुलाई 2021) को गिरफ्तार कर लिया गया है। उनपर कई महिलाओं का पहले भी यौन शोषण करने का आरोप लगा था।
रिपोर्ट के मुताबिक, त्रिची पुलिस ने विवादित प्रोफेसर को बिशप हेबर कॉलेज से गिरफ्तार किया। हाल ही में कॉलेज से स्नातक कर रही पाँच छात्राओं ने तमिल डिपार्टमेंट के प्रमुख पॉल चंद्रमोहन के खिलाफ यौन शोषण की शिकायत दर्ज कराई थी।
त्रिची स्थित बिशप हेबर कॉलेज, दक्षिण भारत के चर्च के तिरुचिरापल्ली तंजावुर सूबा द्वारा स्थापित किया गया था। वही इसके प्रबंधन का कमकाज भी देखता है। कॉलेज के प्रिंसिपल के पास दर्ज कराई गई पाँच पन्ने की शिकायत में 5 पोस्ट ग्रेजुएट छात्राओं ने आरोप लगाया है कि पॉल चंद्रमोहन उनके पास बैठकर उन्हें सेक्सुअल और अश्लील चुटकुले सुनाकर नियमित तौर पर उनका यौन शोषण करता था।
शिकायती पत्र में कहा गया है, “कक्षा के समय के दौरान वह लड़कियों के बेहद करीब बैठते थे, अश्लील बातें और दोहरे अर्थों वाली सेक्सुअल टिप्पणियाँ करते थे। इसी कारण स्टूडेंट उनसे नफरत करते हैं। क्लास के दौरान एक बार उन्होंने अपनी शर्ट-पैंट को इतना अधिक ढीला कर दिया था कि वहाँ बैठे स्टूडेंट असहज हो गए थे।”
पीड़ित छात्राओं ने आरोप लगाया है कि पॉल चंद्रमोहन कई तरीके से यौन उत्पीड़न करते थे, जैसे कि उनके पैरों के साथ अपने पैरों को रगड़ते थे। पत्र में कहा गया है कि एक बार चंद्रमोहन ने कहा था कि वह छात्राओं को उन अनुभवों के बारे में बताएँगे, जो पार्कों में प्रेमी-प्रेमिकाओं को अंतरंग होने के दौरान मिलता है। छात्राओं ने ये भी आरोप लगाया है कि प्रोफेसर चंद्रमोहन उन्हें कॉलेज में अपने पर्सनल केबिन में आने के लिए मजबूर करते थे।
सहायक प्रोफेसर नलिनी करती थीं पॉल चंद्रमोहन की मदद
पीड़ित छात्राओं का कहना है कि तमिल विभाग में सहायक प्रोफेसर नलिनी अक्सर उन्हें एचओडी चंद्रमोहन के पास जाने से पहले अपना चेहरा धोने और मेकअप लगाने के लिए मजबूर करती थीं। पत्र में छात्राओं ने कहा है कि इसी यौन उत्पीड़न के कारण उन्हें कॉलेज छोड़ने के लिए मजबूर होना पड़ा है।
छात्राओं के यौन उत्पीड़न की शिकायत के बाद कॉलेज ने वकील जयंतीरानी की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की है, जिसके बाद आरोपित प्रोफेसर पॉल चंद्रमोहन को निलंबित कर दिया गया है। पुलिस ने भी मामले की छानबीन शुरू कर दी है।
‘तमिल क्रिश्चियन लिटरेचर’ में पीएचडी कर चुके पॉल चंद्रमोहन बीते 20 सालों से लगातार कॉलेज में पढ़ा रहे हैं। बिशप हेबर कॉलेज में घटी यौन शोषण की घटना चेन्नई के लोयोला कॉलेज के यौन उत्पीड़न के मामले की तरह है।
संदर्भ : OpIndia