हरियाणा के इन दो जिलों को किया गया NCR से बाहर, सीएम ने दी जानकारी, gk का प्रश्न भी हो सकता है पढ़े खबर
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हरियाणा के मुख्यमंत्री काफी समय से हरियाणा को एनसीआर क्षेत्र से बाहर करने की मांग कर रहे थे.सीएम चाहते है कि दिल्ली से हरियाणा ( Haryana) का एक तिहाई हिस्सा अलग हो जाए. इसे लेकर मनोहर लाल खट्टर ने एनसीआर (NCR) योजना बोर्ड को पत्र भी भेजा था. जिसको अब मंजूरी मिल गई है. इसके बारे में जानकारी मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने दी. सीएम आज चरखी दादरी में आयोजित प्रगति रैली में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे थे. उन्होंने बताया कि भिवानी व चरखी दादरी जिलें को एनसीआर क्षेत्र से बाहर कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि इससे यहां नए उद्योग स्थापित करने में आसानी होगी और प्रदेश के लोगों के लिए रोजगार की संभावनाएं बढ़ेंगी.
बता दे कि मनोहर लाल खट्टर ने हरियाणा को एनसीआर क्षेत्र से बाहर करने की मांग पर कहा था कि दिल्ली पर शहरीकरण का बोझ कम करने के लिए एनसीआर का विस्तार किया गया था. इसलिए अब दिल्ली के आसपास के इलाकों की तरह दिल्ली को भी विकसित करने के लिए यह फैसला लिया गया. समय बीतने के साथ-साथ एनसीआर क्षेत्र बढ़ता गया और विकास के साथ-साथ इसके कई दुष्परिणाम भी सामने आने लगे हैं. हरियाणा के कुछ हिस्सों को एनसीआर से बाहर करने से कई इलाकों की बड़ी आबादी प्रतिबंधों से मुक्त हो जाएगी.जानकारी के लिए बता दे कि हरियाणा में कुल 22 जिले हैं. जिनमें से 14 जिले वर्तमान में एनसीआर क्षेत्र में आते हैं. इनमें जींद, महेंद्रगढ़, करनाल, भिवानी, चरखी दादरी, पलवल, झज्जर, रेवाड़ी, सोनीपत, पानीपत, रोहतक, नूंह, गुड़गांव और फरीदाबाद शामिल हैं. जिनमे से अब भिवानी और चरखी दादरी को एनसीआर से बाहर कर दिया गया है.